केरल के कोच्चि शहर से एक चौंका देने वाली साम्प्रदायिक घटना सामने आई है। एक महिला द्वारा ‘हलाल रेस्टोरेंट’ खोलने को लेकर उस पर जानलेवा हमला किया गया।
केरल के एर्नाकुलम ज़िले में 15 जनवरी, 2021 को तुषारा अजित (Thushara Ajith) नामक महिला द्वारा एक विशेष ‘गैर-हलाल’ रेस्टोरेंट खोला गया था। इस महिला पर सोमवार (25 अक्टूबर, 2021) को इसे खोलने को लेकर जानलेवा हमला होने की खबर आई है।
तुषारा ने स्वयं अस्पताल के बिस्तर से सोशल मीडिया साइट फेसबुक पर लाइव आकर लोगों को इस हमले के विषय में जानकारी दी। बता दें कि तुषारा का ‘नंदूज़ किचन’ नामक यह रेस्टोरेंट पलारेवट्टम क्षेत्र में अकेला ऐसा रेस्टोरेंट है, जो केवल गैर-हलाल माँस परोसता है।
रेस्टोरेंट के उद्घाटन के समय तुषारा ने बाहर एक बैनर भी लगाया था। इस पर लिखा था- ‘गैर-हलाल, हलाल बख्शनम निशिधाम’। इसका अर्थ है कि ‘यहाँ हलाल खाना प्रतिबंधित है’।
उस समय भी कई इस्लामी कट्टरपंथी समूहों ने इस गैर-हलाल रेस्टोरेंट के चलने पर आपत्ति जताई थी। बताया जा रहा है कि अब तुषारा इस रेस्टोरेंट की दूसरी शाखा खोलने जा रहीं थीं, जिस कारण कट्टरपंथी समूह आहत हुए और उन पर आक्रमण किया गया।
तुषारा पर हमला हो जाने के उपरान्त उनकी बेटी ने अपनी माँ को एम्बुलेंस में अस्पताल ले जाने का एक वीडियो भी साझा किया है। इसमें साफ़ देखा जा सकता है कि तुषारा को उपद्रवियों ने कितनी बेरहमी से पीटा है।
स्थानीय रिपोर्ट्स के अनुसार, तुषारा को कट्टरपंथी इस्लामी समूह द्वारा गैर-हलाल रेस्टोरेंट खोलने को लेकर धमकियाँ मिल रही थीं। कट्टरपंथी समूह उन्हें ‘गैर-हलाल बोर्ड’ न लगाने की धमकी दे रहे थे।
तुषारा ने अपने फेसबुक लाइव में स्वयं भी यह खुलासा किया कि उनके रेस्टोरेंट में गैर-हलाल भोजन परोसने और उसके बाहर बैनर लगाने के लिए ही उन्हें बेरहमी से पीटा गया।
केरल राज्य की विपक्षी पार्टी भाजपा ने इस हमला की कड़ी निंदा की है। घटना को लेकर केरल भाजपा के प्रमुख सुरेंद्रन ने ट्वीट किया:
“मैं श्रीमती तुषारा अजित पर हुए इस हमले की कड़ी निंदा करता हूँ। मुस्लिम कट्टरपंथियों के एक समूह ने हलाल होटल को स्वीकार न करते हुए इस महिला पर बेरहमी से हमला किया। कक्कनड में जो हुआ वह तालिबानी सोच से कम नहीं है। मैं केरल के लोगों से हलाल का बहिष्कार करने की अपील करता हूँ।”
पूरे विवाद को लेकर सोशल मीडिया पर भी लोगों में भारी रोष है। लोगों ने सोशल मीडिया पर खबर साझा करते हुए बताया कि पुलिस तुषारा के कर्मचारियों के विरुद्ध ही कार्रवाई करने पर उतारू है क्योंकि उन लोगों ने आत्मरक्षा में उपद्रवियों का प्रतिकार किया।
इसके साथ ही तुषारा को ये भी धमकियाँ दी जा रही हैं कि वे ‘नो-हलाल’ का बोर्ड हटाएँ और सूअर का माँस भी न परोसें। बता दें कि देशभर की तरह है केरल में भी सूअर का माँस खरीदने या बेचने पर कोई पाबंदी नहीं है परंतु फिर भी इन कट्टरपंथी समूहों द्वारा महिला पर दबाव बनाया जा रहा है।